Category Archive : राष्ट्रीय खबर

National Games: उत्तराखंड ने जीता चौथा गोल्ड मेडल, लॉन बॉल्स में जीता गोल्ड, झारखंड और दिल्ली ने भी जीत के साथ पदक किए अपने नाम.

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38वें राष्ट्रीय खेलों की लॉन बॉल स्पर्धा में बुधवार को झारखंड ने दो और उत्तराखंड व दिल्ली ने एक-एक स्वर्ण पदक जीता। उत्तराखंड ने अलग-अलग श्रेणी में दो कांस्य भी अपने नाम किए।

झारखंड का दमदार प्रदर्शन-

पुरुष पेयर्स के फाइनल में झारखंड ने असम को एकतरफा मुकाबले में 25-04 के बड़े अंतर से हराया। वहीं, महिला फोर्स के फाइनल में भी झारखंड ने पश्चिम बंगाल को 18-08 से मात दी। अंडर-25 महिला के फाइनल में झारखंड ने असम को 21-20 से हराकर स्वर्ण पदक पर कब्जा जमाया। अंडर 25 महिला वर्ग में झारखंड के लिए स्वर्ण जीतने वाली बसंती कुमारी ने कहा कि मैच काफी मुश्किल था, लेकिन हमने अच्छा खेल दिखाया। उत्तराखंड आकर बहुत अच्छा लगा, हम फिर से यहां आना चाहेंगे।

दिल्ली और पश्चिम बंगाल की जीत-

पुरुष ट्रिपल्स के खिताबी मुकाबले में दिल्ली ने झारखंड को 25-08 से हराकर स्वर्ण पदक जीता। महिला सिंगल्स के फाइनल में पश्चिम बंगाल की खिलाड़ी ने झारखंड को 21-08 से हराकर खिताब अपने नाम किया।

उत्तराखंड ने अंडर-25 पुरुष फाइनल में मारी बाजी-

अंडर-25 पुरुष कैटेगरी का फाइनल मुकाबला असम और उत्तराखंड के बीच बेहद रोमांचक रहा। उत्तराखंड ने 21-20 के नजदीकी अंतर से जीत हासिल कर स्वर्ण पदक पर कब्जा किया। लॉन बाल के मुकाबले 6 फरवरी से फिर शुरू होंगे, जिसमें पुरुष फोर्स सिंगल्स, महिला पेयर्स और महिला ट्रिपल्स के इवेंट खेले जाएंगे।

उत्तराखंड में 3 दिन के दौरे पर रहेंगे सीएम योगी, पैतृक गांव में करेंगे प्रवास, सुरक्षा कर्मियों की टीम पहुंची.

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Yogi Adityanath Uttarakhand Visit: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ दो दिवसीय दौरे पर यमकेश्वर आ सकते हैं। अपने पैतृक गांव पंचूर में भतीजी की शादी के साथ ही वह कुछ और कार्यक्रमों में शामिल हो सकते हैं।उत्तर प्रदेश से सुरक्षा कर्मियों की एक टीम यहां पहुंच चुकी है। स्थानीय पुलिस, प्रशासन भी तैयारी में जुटा है। हालांकि, अभी सीएम योगी के कार्यक्रम का मिनट-टू-मिनट कार्यक्रम नहीं आया है।

योगी महाविद्यालय में स्टालों का निरीक्षण करने के साथ किसानों को करेंगे सम्मानित-

 

गुरु गोरखनाथ महाविद्यालय बिथ्याणी में पांच और छह फरवरी को पंतनगर विश्वविद्यालय की ओर से कृषि मेला लगाया जाना है। छह फरवरी को मेले का समापन होना है। अब तक चल रही पुलिस और प्रशासनिक तैयारियों के अनुसार सीएम योगी महाविद्यालय में स्टालों का निरीक्षण करने के साथ किसानों को सम्मानित करेंगे।

 

महाविद्यालय में प्रशासन के साथ ही विवि की ओर से भी स्टाल लगाए जा रहे हैं। महाविद्यालय में लगे सौ फीट ऊंचे तिरंगे झंडे का भी वह उद्घाटन करेंगे। सात फरवरी को उनके पैतृक गांव पंचूर में उनकी भतीजी की शादी है। छह फरवरी को रात्रि विश्राम उनका पैतृक गांव पंचूर में होगा। दिन में वह शादी समारोह में शामिल होंगे। इसके साथ ही वह तल्ला बंणास मेंं एक धार्मिक कार्यक्रम में शामिल होंगे।

 

उत्तर प्रदेश से एसपी सुरक्षा के नेतृत्व में एक टीम पहुंची-

 

बताया जा रहा है कि वहां उनका करीब दो घंटे का कार्यक्रम है। उसके बाद वह शाम को रवाना हो जाएंगे। वहीं, उत्तर प्रदेश से एसपी सुरक्षा के नेतृत्व में एक टीम पहुंच चुकी है। टीम ने कार्यक्रम स्थलों पर सुरक्षा व्यवस्था को परखा। प्रभारी एसएसपी पौड़ी चंद्रमोहन सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री का कार्यक्रम प्रस्तावित है। अभी कार्यक्रम नहीं आया है।

 

 

मायाकुंड में 43 लाख की लागत से बनेगा सामुदायिक केंद्र-

 

जागरण संवाददाता, ऋषिकेश: मायाकुंड में नगर निगम सामुदायिक केंद्र बनाएगा। करीब 43 लाख की लागत से निर्माण कार्यों का टेंडर जारी कर दिया गया है। वहीं, निगम ने डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन के लिए भी टेंडर जारी किए हैं। जब तक नई कंपनी काम के लिए नहीं आती है, पुरानी कंपनी ही जिम्मा संभालेगी। निगम क्षेत्र के मायाकुंड में पुराना भवन बना है। इस भवन में फिलहाल व्यवस्था ठीक नहीं है। यह जीर्ण-शीर्ण बना हुआ है।

 

 

जिलाधिकारी और नगर निगम के प्रशासक सविन बसंल के जनता दरबार में इसका मुद्दा उठा था। जिलाधिकारी ने नगर निगम के अधिकारियों को सामुदायिक केंद्र बनाने के निर्देश दिए। इसके बाद निगम ने इसके लिए प्रयास शुरू किए। निगम की ओर से 43 लाख की लागत से सामुदायिक केंद्र बनाने के टेंडर जारी किए गए हैं। इसमें हाल, कमरों का निर्माण कराया जाएगा।

 

 

नगर आयुक्त शैलेंद्र नेगी ने बताया कि इसके टेंडर की प्रक्रिया शुरू हो गई है। वहीं, नगर निगम ने शहर में डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन के लिए भी टेंडर जारी किए हैं। शहर के चालीस वार्डों में निगम घरों से कूड़ा उठा रहा है। एक एजेंसी के माध्यम से यह काम किया जा रहा है। नगर आयुक्त ने बताया कि जब तक नई एजेंसी नहीं आ जाती तब तक पुरानी कंपनी को ही काम करने को कहा गया है।

बांग्लादेशी-घुसपैठियों का समर्थन और प्रोटेक्शन करती है दिल्ली की ‘आप’ सरकार, CM धामी का हमला.

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Dehradun: दिल्ली विधानसभा चुनाव को लेकर चुनावी शोर थम चुका है.  इस बार दिल्ली चुनाव में बीजेपी ने तमाम दिग्गजों को चुनाव प्रचार में उतारा, जिसमें सीएम पुष्कर धामी भी शामिल रहे. उन्होंने चुनाव प्रचार को धार दी. वहीं, दिल्ली में चुनावी प्रचार प्रसार कर देहरादून लौटे सीएम धामी ने बड़ा बयान दिया है. सीएम धामी ने आरोप लगाते हुए कहा कि दिल्ली की आप सरकार एक ओर घुसपैठियों-बांग्लादेशियों का समर्थन और प्रोटेक्शन करती है तो वहीं दूसरी ओर उत्तर प्रदेश, बिहार और उत्तराखंड के लोगों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है.

 

सीएम धामी ने बांग्लादेशी घुसपैठिए के मामले में आप सरकार को घेरा-

 

 उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दिल्ली में प्रचार प्रसार के दौरान बांग्लादेशी घुसपैठियों के मामले को लेकर आप सरकार पर जमकर निशाना साधा था. सीएम धामी ने आरोप लगाते हुए कहा कि जब घुसपैठियों और बांग्लादेशियों की बात आती है तो आम आदमी पार्टी वाले उनका समर्थन करते हैं. साथ ही उनको प्रोटेक्शन करते हैं. जबकि, उत्तर प्रदेश, बिहार और उत्तराखंड के रहने वाले लोगों को अपना नहीं समझते हैं, बल्कि उनको बाहरी समझते हैं. साथ ही इन लोगों के साथ दोगलापन जैसा व्यवहार करते हैं.

 

सीएम धामी- 

 

सीएम धामी ने कहा कि जब बांग्लादेश में नरसंहार हो रहा था. हिंदुओं के साथ अत्याचार और अमानवीय व्यवहार हो रहा था. माताओं-बहनों के साथ हर तरह से अन्याय हो रहा था, उस दौरान इन लोगों ने एक भी आवाज नहीं उठाई. जबकि, ये लोग छोटी-छोटी बातों पर जंतर मंतर में धरना करते हैं. कभी कैंडल मार्च निकालते हैं, लेकिन बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के मामले पर विपक्ष को सांप सूंघ गया था. यही वजह है कि दिल्ली की जनता अब इनसे सवाल कर रही है कि उस दौरान इन्होंने सवाल क्यों नहीं उठाया?

 

जेएनयू की रिपोर्ट से खलबली-

 

 दरअसल, दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के बीच बांग्लादेशी घुसपैठियों का मामला काफी चर्चाओं में रहा. हाल ही में जेएनयू (जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय) ने एक रिपोर्ट भी जारी की है. जिसके अनुसार दिल्ली के 20 इलाकों में बांग्लादेशी घुसपैठियों की आबादी काफी ज्यादा है. अनुमान लगाया जा रहा है कि दिल्ली में करीब बांग्लादेशी घुसपैठियों की आबादी 20 लाख है. यही वजह है कि बीजेपी लगातार इस पूरे मामले पर सवाल उठा रही है. विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी इस मामले को भुनाने की कवायद में भी जुटी हुई है.

 

Live In Relationship: लिव इन में रहने के लिए उत्तराखंड के पहले जोड़े को मिली मंजूरी, अब दूसरे जिले से भी आए आवेदन.

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समान नागरिक संहिता के तहत लिव इन रिलेशनशिप का पंजीकरण कराने के लिए प्राप्त तीन आवेदनों में से एक को कानूनी मान्यता दे दी गई है। लिव इन रिलेशनशिप के लिए पहले जोड़े को पंजीकृत कर लिया गया है। यह युगल देहरादून जिले का बताया जा रहा है, हालांकि दून से प्राप्त दो आवेदनों के अलावा एक आवेदन दूसरे जिले से भी प्राप्त हुआ था।

पहला पंजीकरण देहरादून से ही हुआ है, इस पर अभी जिला प्रशासन ने मुहर नहीं लगाई है, लेकिन सूत्रों के अनुसार पहला पंजीकरण दून क्षेत्र में ही हुआ है। गौरतलब हो कि उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता ने लिव इन रिलेशनशिप को कानूनी मान्यता मिलने के बाद दून में दो जोड़े सबसे पहले पंजीकरण कराने के लिए आगे आए।

दोनों युगलों ने यूसीसी पोर्टल पर आवेदन किया। इसके अलावा राज्य से दूसरे जिले से भी एक जोड़े ने आवेदन किया है। पुलिस आवेदनों की जांच कर रही है। दस्तावेज व दावे सही पाए जाने के बाद पहले जोड़े को लिव इन में रहने के लिए कानूनी तौर पर अनुमति दे दी गई है।
भरना होता है 16 पेज का फॉर्म-

यूसीसी अधिनियम के तहत जो भी जोड़े लिव इन रिलेशनशिप का पंजीकरण कराएंगे, उन्हें 16 पेज का फॉर्म भरना होगा। पंजीकरण शुल्क जमा करना होगा और यह भी बताना होगा कि अगर भविष्य में वह विवाह करना चाहें तो वो इस योग्य हैं या नहीं। जोड़े को पिछले लिव इन संबंधों का विवरण भी देना होगा।I

Uttarakhand: नेशनल गेम्स के लिए तैयार हो रहा खेल वन, पदक विजेताओं के नाम पर लगेंगे 1600 रुद्राक्ष के पौधे.

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उत्तराखंड में पहली बार आयोजित हो रहे राष्ट्रीय खेलों से ग्रीन गेम्स का संदेश देने का तैयारी है। महाराणा प्रताप स्पोर्ट्स कॉलेज के समीप वन विभाग की 2.77 हेक्टेयर जमीन को खेल वन के रूप में तैयार किया जाएगा। इस भूमि पर राष्ट्रीय खेलों में पदक जीतने वाले 1600 खिलाड़ियों के नाम से रुद्राक्ष के पौधे लगाए जाएंगे। 10 फरवरी को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खेल वन का शुभारंभ करेंगे।

38वें राष्ट्रीय खेलों की थीम ग्रीन गेम्स की रखी गई है। प्रदेश सरकार ने हरित पहल करते हुए राष्ट्रीय खेलों में कई कदम ऐसे उठाए हैं। इसमें खेल वन भी शामिल है। राष्ट्रीय खेलों के उद्घाटन समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रदेश सरकार की हरित पहल की सराहना की थी। महाराणा प्रताप स्पोर्ट्स कॉलेज के पास वन विभाग की 2.77 हेक्टेयर जमीन में खेल वन विकसित करने के लिए तारबाड़ का काम चल रहा है। 10 फरवरी को यहां पर रुद्राक्ष के पौधे लगाए जाएंगे।

चैंपियन हमें प्रेरित करते हैं-

 

खेल वन के लिए जो बड़ा बोर्ड तैयार कराया जा रहा है उसमें चैंपियन हमें प्रेरित करते हैं। लाइनें खासतौर पर उकेरी जा रही है। राष्ट्रीय खेल सचिवालय के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमित सिन्हा का कहना है कि यहां लगाए जाने वाले हर पौधे से हमारी स्मृतियों में विजेताओं का सुनहरा प्रदर्शन ताजा रहेगा।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रेरणा से हम ग्रीन गेम्स की थीम पर राष्ट्रीय खेलों का सफलतापूर्वक आयोजन कर रहे हैं। हमने हरित पहल करते हुए कई ऐसे कदम उठाए हैं, जिनसे दूर-दूर तक पर्यावरण संरक्षण का संदेश जाएगा। खेल वन इस कड़ी में एक महत्वपूर्ण प्रयास है।

– पुष्कर सिंह धामी, मुख्यमंत्री

National Games: उत्तराखंड को वेटलिफ्टिंग में मिला कांस्य पदक, एक गोल्ड समेत 19 पदक जीतकर 19 वें स्थान पर है राज्य.

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राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड को वेटलिफ्टिंग में कांस्य पदक मिला है। पुरुषों के 109 व इससे अधिक किलोग्राम भार वर्ग में विवेक पांडे ने कांस्य पदक जीता है। इसे मिलाकर अब तक राज्य 19 पदकों के साथ पदक तालिका में 19 वें स्थान पर है।

वेटलिफ्टिंग पुरुष प्लस 109 किलोग्राम में उत्तराखंड के विवेक ने 280 किलोग्राम भार उठाकर राज्य के लिए कांस्य पदक जीता। टनकपुर निवासी विवेक ने दो साल पहले वेटलिफ्टिंग की शुरुआत की थी।

हालांकि 12 साल की उम्र से उनका फिटनेस पर ध्यान था। इससे पहले वर्ष 2022 में उन्होंने छत्तीसगढ़ में आयोजित पावर वेटलिफ्टिंग प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक जीता था। वहीं, बैडमिंटन में दो कांस्य और दो रजत पदक पक्के हैं।

अब तक इन खेलों में जीते इतने पदक-

उत्तराखंड ने अब तक वुशु, बैटमिंटन, वेटलिफ्टिंग, हैंडबॉल और योगासन में अच्छा प्रदर्शन किया है। वुशु में राज्य को सबसे अधिक एक स्वर्ण सहित 12 पदक मिले हैं। जबकि बैडमिंटन में दो रजत, हैंडबॉल में एक रजत और योगासन में एक रजत पदक मिला है। अब बॉक्सिंग, कैनोइंग एंड कयाकिंग, एथलेटिक्स आदि खेलों में राज्य को पदक की उम्मीद है।

विवेक की इस सफलता ने राज्य को वेटलिफ्टिंग क्षेत्र में नई पहचान दी है, उनके इस पदक से प्रेरित होकर उत्तराखंड के और युवा इस खेल की ओर आकर्षित होंगे।
– रेखा आर्या, खेल मंत्री

National Games: उत्तराखंड ने बैडमिंटन में रचा इतिहास.. फाइनल में पहुंचीं महिला और पुरुष टीमें.

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उत्तराखंड बैडमिंटन में शुक्रवार का दिन ऐतिहासिक बन गया, जब राज्य की महिला और पुरुष टीम ने सेमीफाइनल में प्रतिद्वंद्वी टीम को 3-1 से हराकर फाइनल में जगह बना ली। शनिवार को उत्तराखंड की दोनों टीमों की भिड़ंत स्वर्ण के लिए होगी।

उत्तराखंड की पुरुष टीम ने शाम के समय राजस्थान को 3-1 से हराकर शानदार जीत हासिल की और फाइनल में प्रवेश कर लिया। उससे पहले सुबह के मैच में उत्तराखंड की महिला टीम ने असम को 3-1 से हराकर फाइनल में जगह बना ली थी।

पुरुष टीम का फाइनल मुकाबला शनिवार को कर्नाटक से होगा। उत्तरांचल राज्य बैडमिंटन संघ के सचिव बीएस मनकोटी ने बताया कि कर्नाटक से फाइनल मैच को लेकर राज्य टीम का मनोबल इसलिए भी बढ़ा है कि राज्य टीम कर्नाटक को पहले दौर के मैच में हरा चुकी है। फाइनल में महिला टीम का मुकाबला हरियाणा से होगा। मुकाबले सुबह 10 बजे से शुरू हो जाएंगे।

उत्तराखंड की पुरुष टीम में चिराग सेन, चयनित जोशी, ध्रुव नेगी, शाशांक छेत्री व अन्य खिलाड़ियों का प्रदर्शन शानदार रहा। वहीं उत्तराखंड की महिला टीम में अदिति भट्ट, गायत्री रावत, मंशा रावत, ए. मनराल का विजयी प्रदर्शन रहा। 

गणतंत्र दिवस परेड में उत्तराखंड की झांकी को मिला तीसरा स्थान, दिल्ली में किया गया पुरस्कृत

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नई दिल्ली कर्तव्य पथ पर गणतंत्र दिवस समारोह में राज्य की ओर से सांस्कृतिक विरासत एवं साहसिक खेल थीम पर उत्तराखंड की झांकी को पीपुल्स चॉइस अवॉर्ड श्रेणी में तृतीय स्थान प्राप्त करने के लिये पुरस्कृत किया गया।नई दिल्ली स्थित राष्ट्रीय रंगशाला शिविर में बृहस्पतिवार को केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ ने सूचना एवं लोक संपर्क विभाग के महानिदेशक बंशीधर तिवारी और झांकी के टीम लीडर/संयुक्त निदेशक के.एस चौहान ने संयुक्त रूप से प्राप्त किया। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशों पर “सांस्कृतिक विरासत एवं साहसिक खेल” थीम पर यह झांकी तैयार की गई थी।

Uttarakhand tableau got third place in India on Republic Day 2025 parade, was awarded in Delhi

झांकी को पुरस्कार के लिए चुने जाने पर मुख्यमंत्री धामी ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि देश-विदेश के लोग “सांस्कृतिक विरासत एवं साहसिक खेल” के साथ ही उत्तराखंड की लोक संस्कृति से भी परिचित हुए हैं। कहा कि उत्तराखंड की झांकी ने कर्तव्य पथ पर सभी का ध्यान आकर्षित किया और समृद्ध सांस्कृतिक विरासत व साहसिक खेलों को बखूबी रूप से प्रस्तुत भी किया।

झांकी के थीम सांग में इनका रहा योगदान
झांकी का थीम सांग “झुमैलो“ था। “झुमैलो“ गीत को जितेंद्र पंवार ने लिखा और गायक अभिनव चौहान ने स्वर दिया है। इसे अमित वी. कपूर ने संगीत देकर तैयार किया। झांकी के अग्र भाग में जो ऐपण कला प्रदर्शित की गई उसे चंपावत जिले के हस्त कलाकार निकिता, अंजलि, सुरेश राजन और योगेश कालोनी ने बनाया। झांकी का निर्माण स्मार्ट ग्राफ आर्ट एडवर्टाइजिंग प्रा.लि.के निदेशक सिद्धेश्वर ने किया गया। लीडर केएस चौहान के साथ चंपावत जिले 15 कलाकारों ने उत्कृष्ट प्रदर्शन किया।

राज्य को तीन पुरस्कार मिल चुके
नई दिल्ली स्थित राष्ट्रीय रंगशाला शिविर में सांस्कृतिक कार्यक्रम की प्रतियोगिता में राज्य के कलाकारों ने प्रसिद्ध जागर गायन एवं लोकनृत्य छपेली प्रतियोगिता की प्रस्तुत दी गई। जिसको गठित समिति ने पुरस्कार के लिए चयनित किया। राज्य गठन के बाद से गणतंत्र दिवस समारोह में अब तक राज्य को तीन पुरस्कार मिले हैं जिनमें वर्ष 2021 में केदारखंड झांकी को तृतीय स्थान प्राप्त हुआ। वर्ष-2023 में मानसखंड झांकी को प्रथम स्थान प्राप्त हुआ और वर्ष 2025 में सांस्कृतिक विरासत एवं साहसिक खेल झांकी को पीपुल्स चॉइस अवॉर्ड श्रेणी में तृतीय स्थान प्राप्त हुआ है।

Uttarakhand: गणतंत्र दिवस परेड में उत्तराखंड की झांकी को मिला देश में तीसरा स्थान, देखे तस्वीरें.

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गणतंत्र दिवस के अवसर पर दिल्ली में कर्तव्य पथ पर सांस्कृतिक विरासत एवं साहसिक खेल पर आधारित उत्तराखंड की झांकी को देश में तीसरा स्थान मिला है। झांकी के अगले भाग में उत्तराखंड की प्रसिद्ध ऐपण कला को बनाते हुए एक पारंपरिक वेशभूषा में महिला को दिखाया गया था। यह ऐपण आर्ट आज विश्वभर में प्रसिद्ध है। ऐपण कला उत्तराखंड की सामाजिक, सांस्कृतिक और धार्मिक महत्व को दर्शाती है। इस कला को उत्तराखंडी महिलाएं पूजा कक्षों, घरों के प्रवेशद्वारों, फर्श और दीवारों पर बनाती हैं। इसे बनाने के लिए चावल का आटा व गेरू का उपयोग किया जाता है।

 

झांकी के ट्रेलर पार्ट में उत्तराखंड के साहसिक खेलों एवं साहसिक पर्यटन को चित्रित किया गया था। जैसे- नैनीताल और मसूरी में हिल साइकिलिंग, फूलों की घाटी और केदारकांठा की ट्रेकिंग, ओली में स्नो स्कीइंग, ऋषिकेश में योगा, बंजी जंपिंग, जिप-लाइनिंग एवं रॉक क्लाइंबिंग की रोमांचकारी गतिविधियों को दर्शाया गया।

Uttarakhand: पीएम मोदी ने की उत्तराखंड सरकार की सराहना, कहा- बनना चाहते हैं शीतकालीन यात्रा का हिस्सा.

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उत्तराखंड की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शीतकालीन यात्रा की ब्रांडिंग कर गए। 38वें राष्ट्रीय खेलों के शुभारंभ पर प्रधानमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड मेरा दूसरा घर है। मेरी इच्छा है कि मैं शीतकालीन यात्रा का हिस्सा बनूं। उन्होंने युवाओं और एथलीट खिलाड़ियों से आह्वान किया कि एडवेंचर गतिविधियों के लिए सर्दियों में उत्तराखंड जरूर आएं।

धामी सरकार चारधाम यात्रा की तर्ज पर शीतकालीन यात्रा को बढ़ावा दे रही है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आठ दिसंबर 2024 को बाबा केदार के शीतकालीन प्रवास स्थल श्री ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ से शीतकालीन यात्रा का शुभारंभ किया। जिससे प्रदेश में पूरे साल भी देश-दुनिया के तीर्थयात्री उत्तराखंड आ सकें। राष्ट्रीय खेलों के शुभारंभ पर प्रधानमंत्री मोदी ने भी शीतकालीन यात्रा की ब्रांडिंग की है। उत्तराखंड को अपने विकास के लिए और भी नए रास्ते बनाने होंगे। उत्तराखंड की अर्थव्यवस्था सिर्फ चारधाम यात्रा पर निर्भर नहीं रह सकती। सरकार सुविधाएं बढ़ाकर चारधाम यात्रा का आकर्षण लगातार बढ़ा रही। हर सीजन में श्रद्धालुओं की संख्या भी नए रिकॉर्ड बना रही है लेकिन इतना काफी नहीं है। उत्तराखंड में शीतकालीन यात्राओं को प्रोत्साहित करना जरूरी है।

प्रधानमंत्री ने कहा, राष्ट्रीय खेलों में भाग ले रहे सभी एथलीट भी खेलों के समापन के बाद एडवेंचर के बारे में पता करें और उसका आनंद उठाएं। बता दें कि प्रधानमंत्री फरवरी माह में शीतकालीन यात्रा पर आ सकते हैं। उनके उत्तरकाशी जिले के मां गंगोत्री के शीतकालीन प्रवास स्थल मुखबा जाने की प्रबल संभावनाएं हैं।
पीएम मोदी के जाने से आदि कैलाश यात्रा को मिला बढ़ावा-

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 12 अक्तूबर 2024 को पिथौरागढ़ में पार्वती कुंड में भी पूजा अर्चना आदि कैलाश के दर्शन किए। पहली बार प्रधानमंत्री के यहां आने से आदि कैलाश यात्रा को बढ़ावा मिला।

 

ग्रीन गेम्स में की प्लास्टिक मुक्ति की अपील-

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जहां नेशनल गेम्स को ग्रीन गेम्स की संज्ञा दी तो वहीं युवा खिलाड़ियों से उत्तराखंड के प्लास्टिक मुक्त अभियान में सहयोग की अपील भी की। पीएम मोदी ने अपने अभिभाषण की शुरुआत में कहा कि इस बार के नेशनल गेम्स एक प्रकार से ग्रीन गेम्स भी हैं। इसमें एनवायरमेंट फ्रेंडली चीजों का काफी इस्तेमाल हो रहा है। नेशनल गेम्स में मिलने वाले सभी मेडल व ट्रॉफी ई-वेस्ट से बने हैं। मेडल जीतने वाले खिलाड़ियों के नाम पर यहां एक पौधा भी लगाया जाएगा। ये बहुत ही अच्छी पहल है। उन्होंने सभी खिलाड़ियों को बेहतरीन प्रदर्शन के लिए शुभकामनाएं दीं। उन्होंने सभी युवाओं, खिलाड़ियों से स्वच्छता को लेकर भी आग्रह किया। पीएम मोदी ने कहा कि देवभूमि के निवासियों के प्रयासों से उत्तराखंड प्लास्टिक मुक्त बनने की दिशा में काफी मेहनत कर रहा है। आगे बढ़ने का प्रयास कर रहा है। यह संकल्प आपके सहयोग के बिना पूरा नहीं हो सकता। इस अभियान को सफल बनाने में जरूर अपना योगदान दें।

खिलाड़ी मुझे प्राइम मिनिस्टर नहीं परम मित्र मानते हैं-

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राष्ट्रीय खेलों के शुभारंभ पर उत्साहित नजर आए। उन्होंने बताया कि किस तरह से खिलाड़ी उन्हें उत्साह देते हैं। आज सरकार के प्रयासों का ही असर है कि हॉकी में पुराने गौरवशाली दिन लौट रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीते दिनों के किस्से से अपने उत्साह को बयां किया। उन्होंने बताया कि कुछ समय पहले दिल्ली में जब ओलंपिक टीम से मुलाकात की थी तो एक खिलाड़ी ने मुझे पीएम की नई परिभाषा बताई। खिलाड़ी ने बताया कि पूरे देश के खिलाड़ी आपको पीएम यानी प्राइम मिनिस्टर नहीं बल्कि परम मित्र मानते हैं। पीएम मोदी ने कहा कि आपका ये विश्वास मुझे नई ऊर्जा देता है। मेरा आप सभी की सामर्थ्य पर पूरा भरोसा है। हमारी पूरी कोशिश है कि आपका सामर्थ्य और बढ़े। आपके खेल में और निखार आए। बीते दस सालों में आपके टेलेंट को सपोर्ट करने पर हमने निरंतर फोकस किया है। 10 साल पहले खेलों का जो बजट था, वह आज 20 गुना से ज्यादा हो चुका है। खेल योजना के तहत देश के दर्जनों खिलाड़ियों पर करोड़ों का निवेश किया जा रहा है। खेलो इंडिया के लिए देश में आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर बनाया जा रहा है। देश की पहली स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी मणिपुर में बन रही है। सरकार के इन प्रयासों का नतीजा हम ग्राउंड पर देख रहे हैं। मेडल टेली में दिखाई दे रहा है। आज हर इंटरनेशनल इवेंट में खिलाड़ी अपना परचम लहरा रहे हैं। ओलंपिक व पैरालंपिक में हमारे खिलाड़ियों ने अच्छा प्रदर्शन किया है। उत्तराखंड से भी कितने ही खिलाड़ियों ने मेडल जीते हैं।

 

समान नागरिक संहिता भी खेल भावना की तरह, सब बराबर-

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तराखंड में लागू समान नागरिक संहिता को खेल भावना की तरह बताया। उन्होंने कहा कि यहां किसी तरह का कोई भेदभाव नहीं, सब बराबर हैं। उन्होंने यूसीसी लागू करने पर धामी सरकार की पीठ थपथपाई।

अपने भाषण में पीएम मोदी ने कहा कि 21वीं सदी भारत की सदी है। यहां बाबा केदार के दर्शन के बाद मेरे मुंह से, मेरे दिल से अचानक ही निकला था कि ये उत्तराखंड का दशक है। मुझे खुशी है कि उत्तराखंड तेजी से प्रगति कर रहा है। कल ही उत्तराखंड देश का ऐसा राज्य बना है, जिसने यूनिफार्म सिविल कोड यानि समान नागरिक संहिता लागू की। पीएम मोदी ने कहा कि मैं कभी-कभी इसे सेक्युलर सिविल कोड भी कहता हूं। समान नागरिक संहिता हमारी बेटियों, माताओं-बहनों के गरिमापूर्ण जीवन का आधार है।

इससे लोकतंत्र की नींव को मजबूती मिलेगी। संविधान की भावना मजबूत होगी। पीएम मोदी ने सभी खिलाड़ियों से यूसीसी को जोड़ने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि खिलाड़ी भी हमें भेदभाव की भावना से दूर करता है। सबका प्रयास ही यहां सफलता का मूलमंत्र होता है। खेल से हमें टीम भावना के साथ खेलने की प्रेरणा मिलती है। यही भावना यूनिफार्म सिविल कोड की भी है। किसी से भेदभाव नहीं। हर कोई बराबर। उन्होंने उत्तराखंड की भाजपा सरकार को इस ऐतिहासिक कदम के लिए बधाई दी।